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समास (Samas) क्या है? भेद, उदाहरण, ट्रिक्स | सम्पूर्ण नोट्स

समास (Samas) क्या है? भेद, उदाहरण, ट्रिक्स | सम्पूर्ण नोट्स

समास (Samas) क्या है? भेद, उदाहरण, ट्रिक्स | सम्पूर्ण नोट्स

समास (Samas) क्या है? भेद, उदाहरण, ट्रिक्स | सम्पूर्ण नोट्स

🔹 **CHAPTER NAME:** समास: परिभाषा, भेद, उदाहरण और परीक्षा उपयोगी प्रश्न

🔹 **PERMALINK (URL SLUG):** sam-as-kya-hai-bhed-udaharan-hindi-vyakaran-notes


🔹 समास (Samas) क्या है? (शून्य स्तर से शुरुआत)

नमस्ते छात्रों! आज हम हिंदी व्याकरण के एक बहुत ही **रोचक (interesting)** और **ज़रूरी (necessary)** विषय 'समास' के बारे में जानेंगे।

**समास (Samas) का मतलब है 'संक्षेप' (Short Form)।**

सोचिए, अगर आपको कहना हो "राजा का पुत्र", तो इसमें तीन शब्द हैं। समास की मदद से हम इसे एक शब्द में बदल सकते हैं: **"राजपुत्र"**।

बस! शब्दों को छोटा करके एक नया शब्द बनाने की प्रक्रिया ही **समास** कहलाती है। यह आपकी भाषा को **सरल**, **सुंदर** और **प्रभावी** बनाता है।

  • **उदाहरण:** रसोई के लिए घर $\rightarrow$ **रसोईघर**
  • **उदाहरण:** चार रास्तों का समूह $\rightarrow$ **चौराहा**

🔹 समास के मूलभूत कॉन्सेप्ट्स (Basic Concepts)

समास को समझने के लिए दो मुख्य बातें याद रखें:

  1. **समस्त पद (Compound Word):** समास प्रक्रिया से बनने वाले नए शब्द को **समस्त पद** कहते हैं। (जैसे: **राजपुत्र**, **रसोईघर**)
  2. **समास-विग्रह (Decomposition):** समस्त पद को वापस उसके पुराने रूप में या अलग-अलग शब्दों में तोड़ने को **समास-विग्रह** कहते हैं। (जैसे: **राजपुत्र** का विग्रह = राजा का पुत्र)

एक समस्त पद में **दो पद** (शब्द) होते हैं:

  • **पूर्व पद (First Term):** समास का पहला शब्द। (जैसे: **राज**पुत्र में 'राज')
  • **उत्तर पद (Second Term):** समास का दूसरा शब्द। (जैसे: राज**पुत्र** में 'पुत्र')

🔹 समास की महत्वपूर्ण परिभाषाएँ

1. समास की परिभाषा:

दो या दो से अधिक शब्दों को मिलाकर एक नया और सार्थक (meaningful) शब्द बनाने की प्रक्रिया को **समास** कहते हैं। इसमें बीच के विभक्ति चिन्हों का लोप हो जाता है।

2. समास के मुख्य भेद (ट्रिक के साथ):

क्र. समास का नाम सरल पहचान (ट्रिक) कौन-सा पद प्रधान
1. **अव्ययीभाव समास** पहला पद (अव्यय) **पूर्व पद**
2. **तत्पुरुष समास** कारक चिन्हों का लोप **उत्तर पद**
3. **द्विगु समास** पहला पद संख्यावाची **उत्तर पद**
4. **कर्मधारय समास** उपमेय-उपमान या विशेषण-विशेष्य **उत्तर पद**
5. **द्वंद्व समास** दोनों पद महत्वपूर्ण हैं **दोनों पद**
6. **बहुव्रीहि समास** कोई पद प्रधान नहीं; नया अर्थ **कोई नहीं (तीसरा अर्थ)**

🔹 समास के भेदों का विस्तार से अध्ययन (Exam-Oriented)

1. अव्ययीभाव समास (Avyayibhava Samas)

  • **पहचान:** इसका **पहला पद (पूर्व पद)** प्रधान होता है और वह **अव्यय** होता है।
  • **उदाहरण:** **यथाशक्ति** (शक्ति के अनुसार), **आजीवन** (जीवन भर), **प्रतिदिन** (प्रत्येक दिन), **रातोंरात** (रात ही रात में)।

2. तत्पुरुष समास (Tatpurusha Samas)

  • **पहचान:** इसमें **उत्तर पद (दूसरा पद)** प्रधान होता है। विग्रह करने पर **कारक चिन्ह** (को, से, के लिए, आदि) दिखाई देते हैं।
  • **उपभेद (कारक के आधार पर):**
    • **कर्म तत्पुरुष (को):** यशप्राप्त (यश को प्राप्त)
    • **संप्रदान तत्पुरुष (के लिए):** प्रयोगशाला (प्रयोग के लिए शाला)
    • **संबंध तत्पुरुष (का/की/के):** गंगाजल (गंगा का जल)

3. द्विगु समास (Dwigu Samas)

  • **पहचान:** इसका **पहला पद संख्यावाची** (number) होता है और वह पूरे समूह का बोध कराता है।
  • **उदाहरण:** **दोपहर** (दो पहरों का समूह), **त्रिभुवन** (तीन भुवनों का समूह), **चौराहा** (चार राहों का समूह)।

4. कर्मधारय समास (Karmadharaya Samas)

  • **पहचान:** इसमें एक पद **विशेषण** और दूसरा पद **विशेष्य** होता है, या उपमान-उपमेय का संबंध होता है।
  • **उदाहरण:** **नीलकमल** (नीला है जो कमल), **महादेव** (महान है जो देव), **चरणकमल** (कमल के समान चरण)।

5. द्वंद्व समास (Dwandwa Samas)

  • **पहचान:** इसमें **दोनों पद** प्रधान होते हैं। विग्रह करने पर बीच में **'और'**, **'या'**, **'अथवा'** आता है। अक्सर बीच में योजक चिन्ह (-) लगा होता है।
  • **उदाहरण:** **माता-पिता** (माता और पिता), **दाल-रोटी** (दाल और रोटी), **सुख-दुःख** (सुख या दुःख)।

6. बहुव्रीहि समास (Bahuvrihi Samas)

  • **पहचान:** इस समास में **कोई भी पद** प्रधान नहीं होता। यह दोनों पद मिलकर किसी **तीसरे पद या विशेष अर्थ** की ओर संकेत करते हैं।
  • **उदाहरण:** **दशानन** (दस हैं आनन जिसके) $\rightarrow$ **रावण**, **नीलकंठ** (नीला है कंठ जिसका) $\rightarrow$ **शिव**।

🔹 दैनिक जीवन के उदाहरण (Daily Life Examples)

समस्त पद समास-विग्रह समास का भेद
वनवास वन में वास अधिकरण तत्पुरुष समास
भाई-बहन भाई और बहन द्वंद्व समास
पंचरत्न पांच रत्नों का समूह द्विगु समास
गजानन गज के समान आनन है जिसका (गणेश) बहुव्रीहि समास

🔹 सामान्य गलतियाँ और उनसे कैसे बचें

  • **गलती:** कर्मधारय और बहुव्रीहि को एक समझना।
  • **सही जानकारी:** **कर्मधारय** केवल विशेषता बताता है। **बहुव्रीहि** किसी नए या तीसरे व्यक्ति/वस्तु का नाम होता है।
  • **परीक्षा मंत्र:** अगर शब्द का कोई विशेष अर्थ निकल रहा है, तो हमेशा **बहुव्रीहि को प्राथमिकता** दें। (जैसे: 'पीतांबर')

🔹 परीक्षा के लिए महत्वपूर्ण बिंदु (Exam Important Points)

  • **पुनरावृत्ति (Repetition):** अव्ययीभाव समास में कभी-कभी एक ही शब्द दोहराया जाता है (जैसे: **घर-घर, दिन-दिन**)।
  • **प्राथमिकता नियम:** यदि किसी समस्त पद में कर्मधारय और बहुव्रीहि दोनों की संभावना हो (जैसे नीलकंठ), तो उत्तर हमेशा **बहुव्रीहि समास** होगा।

🔹 अभ्यास प्रश्न (Practice Questions)

A. Easy level

  1. **भरपेट** का सही समास-विग्रह क्या है?
  2. जिस समास का पहला पद संख्यावाची हो, वह कौन-सा समास कहलाता है?

B. Medium level

  1. **दशानन** में कौन-सा समास है?
  2. **रसोईघर** का समास-विग्रह और समास का भेद बताइए।

C. Hard level

  1. जब किसी समस्त पद में विशेषण-विशेष्य का संबंध होता है, तो वह कौन-सा समास कहलाता है?
  2. निम्नलिखित में से किस विकल्प में **अव्ययीभाव समास** नहीं है? (a) रातोंरात, (b) प्रतिवर्ष, (c) श्रमदान, (d) आजन्म

🔹 उत्तर और व्याख्या (Answers with Explanation)

प्र. उत्तर व्याख्या
1. **पेट भर के** 'भर' अव्यय है, इसलिए यह अव्ययीभाव समास है।
3. **बहुव्रीहि समास** दशानन (रावण) एक विशेष व्यक्ति की ओर संकेत करता है।
4. रसोई के लिए घर (संप्रदान तत्पुरुष) 'के लिए' संप्रदान कारक चिन्ह का लोप हुआ है।
7. **(c) श्रमदान** श्रमदान का विग्रह 'श्रम द्वारा दान' है, इसलिए यह तत्पुरुष समास है।

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